IT सेल के फर्जी चेहरे से उठा नकाब, देखिए कैसे एडिटेड तस्वीर बनाकर देश के पहलवानों को किया जा रहा बदनाम

Rozanaspokesman

फेक्ट चैक

रोज़ाना स्पोक्समैन ने अपनी पड़ताल में पाया कि वायरल तस्वीर एडिटेड टूल की मदद से बनाई गई है।

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RSFC (टीम मोहाली)- जंतर मंतर पर प्रदर्शन कर रहे पहलवानों को पुलिस ने कल 28 मई 2023 को गिरफ्तार कर लिया और उनके टेंट और सामान हटा दिए गए। अब इस मामले को लेकर सोशल मीडिया पर कई वीडियो तस्वीरें वायरल हुई हैं, जिसमें पुलिस द्वारा पहलवानों के साथ कथित बदसलूकी देखी जा सकती है। इसी तरह आईटी सेल द्वारा पहलवानों को बदनाम करने का प्रयास किया गया। सेल ने पहलवानों की एक तस्वीर वायरल की और दावा किया कि पहलवान टीवी मीडिया के सामने केवल दुखी होने का नाटक कर रहे हैं जबकि वे अंदर से खुश हैं। आईटी सेल ने एक तस्वीर वायरल की, जिसमें पहलवानों को पुलिस हिरासत में बैठकर हस्ते हुए सेल्फी लेते देखा जा सकता है।

कई दक्षिणपंथी समर्थकों के अकाउंट से तस्वीर को सोशल मीडिया पर शेयर किया गया और पहलवानों को निशाना बनाया गया। इनमें से कुछ पोस्ट के स्क्रीनशॉट नीचे देखे जा सकते हैं।

रोज़ाना स्पोक्समैन ने अपनी पड़ताल में पाया कि वायरल तस्वीर एडिटेड टूल की मदद से बनाई गई है। एडिटेड तस्वीर बनाकर पहलवानों को निशाना बनाया गया।

"अब देखिए यह तस्वीर कैसे बनी"

इस तस्वीर के वायरल होते ही पहलवान बजरंग पूनिया ने असली तस्वीर शेयर करते हुए आईटी सेल का फर्जी चेहरा शेयर कर दिया। आपको बता दें कि असली तस्वीर में पुलिस हिरासत में पहलवान खुश नहीं दिख रहे थे।

असली तस्वीर और वायरल तस्वीर का कोलाज देखा जा सकता है।

https://twitter.com/BajrangPunia/status/1662820142454312968?s=20

अब हम आपको बताएंगे कि कैसे ये फेक तस्वीर बनाई गई। रोज़ाना स्पोक्समैन ने ऐसा ही एक AI एप डाउनलोड कर उसमें असली तस्वीर अपलोड की और पहलवानों के चेहरे पर झूठी मुस्कान चिपकाई। आपको बता दें कि वायरल तस्वीर इसी ऐप की मदद से तैयार की गई है।

अब आप स्क्रीन पर देखेंगे कि ओरिजिनल इमेज को कैसे एडिट किया गया था।

आपको बता दें कि रोज़ाना स्पोक्समैन इस वीडियो के माध्यम से आईटी सेल की गलत मंशा का पर्दाफाश कर रहा है और हम अपील करते हैं कि इस तरह के एप्लिकेशन का उपयोग करके कोई भी झूठा रंग नहीं फैलाया जाना चाहिए। हम इस एप्लिकेशन का नाम और इस पूरी प्रक्रिया को आपके साथ साझा नहीं कर सकते हैं।

नतीजा- रोज़ाना स्पोक्समैन ने अपनी पड़ताल में पाया कि वायरल तस्वीर एडिटेड टूल की मदद से बनाई गई है। IT Cell एडिटेड तस्वीर बनाकर पहलवानों को निशाना बनाया गया।