CM केजरीवाल ने निर्वाचन आयुक्तों की नियुक्ति संबंधी विधेयक पर की मोदी की आलोचना

Rozanaspokesman

राष्ट्रीय, दिल्ली

मुख्यमंत्री ने आरोप लगाया, ‘‘प्रधानमंत्री एक के बाद एक फैसलों से भारतीय लोकतंत्र को कमजोर कर रहे हैं।’’

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New Delhi: दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने मुख्य निर्वाचन आयुक्त और निर्वाचन आयुक्तों की नियुक्ति को विनियमित करने वाले विधेयक को लेकर बृहस्पतिवार को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी पर निशाना साधते हुए दावा किया कि इससे चुनाव की निष्पक्षता पर असर पड़ेगा।.

राज्यसभा में बृहस्पतिवार को पेश किए एक विधेयक के अनुसार, भविष्य में मुख्य निर्वाचन आयुक्त और निर्वाचन आयुक्तों की नियुक्ति प्रधानमंत्री की अध्यक्षता वाली तीन सदस्यीय समिति करेगी। लोकसभा में विपक्ष का नेता और एक कैबिनेट मंत्री भी इस समिति का सदस्य होगा।

यह उच्चतम न्यायालय के मार्च में दिए उस फैसले के विपरीत है जिसमें कहा गया था कि मुख्य निर्वाचन आयुक्त और निर्वाचन आयुक्तों की नियुक्ति प्रधानमंत्री, लोकसभा में विपक्ष के नेता और प्रधान न्यायाधीश की सदस्यता वाली एक समिति की सलाह पर राष्ट्रपति द्वारा की जाएगी।

केजरीवाल ने ‘एक्स’ (पूर्व में ट्विटर) पर सिलसिलेवार पोस्ट में प्रधानमंत्री मोदी पर उच्चतम न्यायालय के आदेश का पालन न करने का भी आरोप लगाया और कहा कि यह ‘‘बहुत खतरनाक स्थिति’’ है।

उन्होंने कहा, ‘‘मैंने पहले भी कहा था कि प्रधानमंत्री देश के उच्चतम न्यायालय की बात नहीं मानते हैं। उनका संदेश स्पष्ट है - उच्चतम न्यायालय उनकी पसंद के विरुद्ध जो भी फैसला देगा, वह उसे पलटने के लिए संसद के जरिए कानून लेकर आएंगे। अगर प्रधानमंत्री उच्चतम न्यायालय के फैसले का पालन नहीं करते हैं तो यह बहुत खतरनाक स्थिति है।’’

केजरीवाल ने कहा, ‘‘उच्चतम न्यायालय ने एक निष्पक्ष समिति बनायी थी जो निष्पक्ष निर्वाचन आयुक्तों की नियुक्ति करेगी। प्रधानमंत्री ने उच्चतम न्यायालय का फैसला पलटते हुए एक समिति गठित की है जो उनके नियंत्रण में रहेगी और वह इसके जरिए अपनी पसंद के व्यक्ति को चुनाव आयुक्त बना सकते हैं। इससे चुनावों की निष्पक्षता पर असर पड़ेगा।’’

मुख्यमंत्री ने आरोप लगाया, ‘‘प्रधानमंत्री एक के बाद एक फैसलों से भारतीय लोकतंत्र को कमजोर कर रहे हैं।’’

आम आदमी पार्टी (आप) के नेता केजरीवाल ने एक अन्य पोस्ट में कहा कि चुनाव आयुक्तों की नियुक्ति के लिए प्रस्तावित समिति में ‘‘भारतीय जनता पार्टी के दो और कांग्रेस का एक सदस्य’’ होगा। उन्होंने कहा, ‘‘जाहिर तौर पर नियुक्त होने वाला निर्वाचन आयुक्त भाजपा का वफादार होगा।’’.

सरकार ने मुख्य निर्वाचन आयुक्त और अन्य निर्वाचन आयुक्तों की नियुक्ति, सेवा की शर्तों और कार्यकाल के विनियमन के लिए बृहस्पतिवार को राज्यसभा में एक विधेयक पेश किया।